अमेरिकी अर्थव्यवस्था में रिकॉर्ड गिरावट, बेरोजगारी 15 फीसदी बढ़ी
By: Pinki Fri, 31 July 2020 4:27:39
दुनिया में कोरोना वायरस से संक्रमण के अब तक 1 करोड़ 74 लाख 76 हजार 105 मामले सामने आ चुके हैं। इनमें 1 करोड़ 9 लाख 39 हजार 477 ठीक भी हो चुके हैं। वहीं, 6 लाख 76 हजार 759 की मौत हो चुकी है। कोरोना का कहर झेल रहे अमेरिका की अर्थव्यवस्था को तगड़ी चोट पड़ी है। अप्रैल से जून की तिमाही में अमेरिका के सकल घरेलू उत्पाद (GDP) में 33% की भारी गिरावट आई है। यह ऐतिहासिक गिरावट है यानी अब तक का एक रिकॉर्ड है।
इस दौरान अमेरिका में बेरोजगारी भी बढ़कर 14.7% तक पहुंच गई। गौरतलब है कि अमेरिका में वित्त वर्ष कैलेंडर वर्ष यानी जनवरी से दिसंबर तक के लिए होता है। वहां गुरुवार को अप्रैल से जून की दूसरी तिमाही के लिए इकोनॉमी के आंकड़े जारी किए गए।
बता दे, अमेरिका में कोरोना से अब तक 46,34,985 लोग संक्रमित हो चुके है। इस वायरस से अब तक 1,55,285 लोगों की मौत हो चुकी है।
कोरोना की वजह से अमेरिका में भी लॉकडाउन लगाया गया और बढ़ते संक्रमण की वजह से वहां कंपनियों, कारखानों का काम बंद करना पड़ा। इसकी वजह से बड़ी संख्या में नौकरियों में छंटनी की गई। पिछले हफ्ते करीब 14 लाख अमेरिकियों ने बेरोजगारी भत्ते के लिए आवेदन किया है। ये वे लोग हैं जिन्हें नौकरी से निकाल दिया गया है। अमेरिका में यह लगातार 19वां हफ्ता है जब 10 लाख से ज्यादा लोगों ने बेरोजगारी भत्ते के लिए आवेदन किया है। मार्च से पहले कभी भी यह आंकड़ा 7 लाख के पार नहीं हुआ था।
अमेरिका में 1947 से जीडीपी के आंकड़े जारी किए जा रहे हैं। इसके पहले साल 1958 में राष्ट्रपति आइजनहावर शासन के दौरान अमेरिका की अर्थव्यवस्था में करीब 10 फीसदी की गिरावट आई थी, जो इसके पहले का सबसे बुरे दौर का रिकॉर्ड है। इस साल जनवरी-मार्च तिमाही में अमेरिकी अर्थव्यवस्था में 5 फीसदी की गिरावट आई थी।
न्यूज एजेंसी एपी के मुताबिक ज्यादातर इकोनॉमिस्ट को लगता है कि जुलाई से सितंबर की तिमाही में इकोनॉमी में सुधार आएगा। कोरोना संक्रमण के मामलों में अमेरिका दुनिया में पहले स्थान पर है और अब भी मामले लगातार बढ़ते जा रहे हैं। वहां कोरोना के मामलों की संख्या 45 लाख को पार कर गई है।
दो वैक्सीन के फेज-3 का ट्रायल शुरू
बता दे, अमेरिका में कोविड-19 की दो वैक्सीन के फेज-3 का ट्रायल शुरू हो चुका है। गुरुवार को सैकड़ों लोगों को इसका टीका लगाया गया। हालांकि, कितने लोगों को वैक्सीन दी गई हैं अभी इसका पता नहीं चला है। ये वैक्सीन बॉयोटेक्नोलॉजी कंपनी मॉडर्ना और फाइजर ने बनाई हैं। अधिकारियों ने बताया कि यह एक अप्रत्याशित स्थिति है। हमें नहीं पता कि ये वैक्सीन कितना अच्छा काम करने वाली हैं।